रघुवरजसप्रकास – किसनाजी आढ़ा

किसनाजी आढ़ा विरचित डिंगल गीतों/छंदों का प्रसिद्ध लाक्षणिक ग्रंथ
संपादक : डॉ.सीताराम लालस
| कड़ी-14 | विषय: मात्रा वरण उदिस्ट नस्ट सुगम लछण, मेर लछण, मात्रा मेर विध, वरण मेर भरण विध, एकादस मात्रा मेर स्वरूप
| धारावाहिक श्रंखला – प्रत्येक मंगल, शुक्र एवं रविवार को प्रेषित