जय जय भारत देश

हमको आजादी मिली, और बँट गया देश।
अब नेता बन आ गयै,  नन्है बडै नरेश॥1

पहले पाकिस्तान को, बांट गयै अंग्रेज।
अब हमनें बांटा उसै,जाति पांती सहेज॥2

जाति धर्म प्रदेश से, राजै बनते रोज।
नेता कोलंबस हुए, औ सत्ता की खोज॥3

हिन्दू मुस्लिम बौद्ध औ, ईसाई को आप।
स्वारथ निज हित के लिए, समझै नेता खांप॥4

टुकडौ में टुकडै कई, जाति धरम के भेद।
देश फटा कपडा लगै, जिसमें लाखौ छेद॥5

जाट गूजरों यादवौ, मैं बँट गया किसान।
फिर भी भारत एक है, मेरा देस महान॥6

तमिल मराठा सीख्ख औ, भाषा मंडल भेद।
फिर भी भारत एक है, लिए सैकडौ छेद॥7

कहां गई वह वीरता,कहां गया वह खून।
आजादी के वासते, पहूंचा था रंगून॥8

फांसी पर हंसते हुए,दी भारत पर जान।
कहां गये वो लोग सब, जिसका हमें गुमान॥9

ना अब वो माहौल है, ना मरने की चाह।
हम बस केवल भीड है, और नेता चरवाह॥10

जय जय  पांती जाति को, जय जय धर्म प्रदेश।
जय जय भाषा की तथा, जय जय भारत देश॥11

~~नरपतदान आवडदान आसिया “वैतालिक”

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